68500 शिक्षक भर्ती :: 450 अभ्यर्थियों की उत्तर पुस्तिकाओं का फिर होगा मूल्यांकन , क्लिक करे और पढ़े पूरी पोस्ट
एक वर्ष बाद भी 68500 सहायक अध्यापक भर्ती में नियुक्ति पाने के लिए रास्ते तलाशे जा रहे हैं। इन दिनों हाईकोर्ट के माध्यम से अभ्यर्थी याची बनकर उत्तर पुस्तिकाओं का पुनमरूल्यांकन करा रहे हैं। कोर्ट ने दो दिन पहले ही याचियों की कॉपियों का फिर से मूल्यांकन कराने का आदेश दिया है, इसमें करीब 450 याचियों का भविष्य मूल्यांकन के अंकों पर टिका है। यदि वे तय कटऑफ अंक हासिल करते हैं तो नियुक्ति पाने के हकदार बन जाएंगे।
बेसिक शिक्षा परिषद के प्राथमिक स्कूलों में सहायक अध्यापक पद पर नियुक्ति पाने के लिए 68500 पदों के लिए लिखित परीक्षा हुई थी। इसका परिणाम 13 अगस्त 2018 को जारी हुआ था, रिजल्ट में 41556 सफल व तमाम अभ्यर्थी फेल हो गए थे। उन्होंने दोबारा मूल्यांकन की मांग की। राज्य सरकार के निर्देश पर कोर्ट के मार्गदर्शन में कॉपियों का पुनमरूल्यांकन कराया गया। उसमें करीब साढ़े चार हजार से अधिक को सफलता मिली थी। इसके बाद से कोर्ट के जरिये पुनमरूल्यांकन कराने का सिलसिला चल पड़ा। दो दिन पहले कोर्ट ने फिर याचियों की कॉपियों का नए सिरे से मूल्यांकन कराने का आदेश दिया है। परीक्षा संस्था की मानें तो करीब 450 याचियों की उत्तर पुस्तिकाएं जांची जा सकती हैं।
आदेश के अनुसार याचियों को एक माह के अंदर कोर्ट के आदेश के साथ परीक्षा संस्था में पुनमरूल्यांकन के लिए आवेदन करना होगा।
एक वर्ष बाद भी 68500 सहायक अध्यापक भर्ती में नियुक्ति पाने के लिए रास्ते तलाशे जा रहे हैं। इन दिनों हाईकोर्ट के माध्यम से अभ्यर्थी याची बनकर उत्तर पुस्तिकाओं का पुनमरूल्यांकन करा रहे हैं। कोर्ट ने दो दिन पहले ही याचियों की कॉपियों का फिर से मूल्यांकन कराने का आदेश दिया है, इसमें करीब 450 याचियों का भविष्य मूल्यांकन के अंकों पर टिका है। यदि वे तय कटऑफ अंक हासिल करते हैं तो नियुक्ति पाने के हकदार बन जाएंगे।
बेसिक शिक्षा परिषद के प्राथमिक स्कूलों में सहायक अध्यापक पद पर नियुक्ति पाने के लिए 68500 पदों के लिए लिखित परीक्षा हुई थी। इसका परिणाम 13 अगस्त 2018 को जारी हुआ था, रिजल्ट में 41556 सफल व तमाम अभ्यर्थी फेल हो गए थे। उन्होंने दोबारा मूल्यांकन की मांग की। राज्य सरकार के निर्देश पर कोर्ट के मार्गदर्शन में कॉपियों का पुनमरूल्यांकन कराया गया। उसमें करीब साढ़े चार हजार से अधिक को सफलता मिली थी। इसके बाद से कोर्ट के जरिये पुनमरूल्यांकन कराने का सिलसिला चल पड़ा। दो दिन पहले कोर्ट ने फिर याचियों की कॉपियों का नए सिरे से मूल्यांकन कराने का आदेश दिया है। परीक्षा संस्था की मानें तो करीब 450 याचियों की उत्तर पुस्तिकाएं जांची जा सकती हैं।
आदेश के अनुसार याचियों को एक माह के अंदर कोर्ट के आदेश के साथ परीक्षा संस्था में पुनमरूल्यांकन के लिए आवेदन करना होगा।