इलाहाबाद हाईकोर्ट ने प्रशिक्षित स्नातक शिक्षक यानी टीजीटी कला संस्कृत और बायोलॉजी के संशोधित चयन परिणाम में अभ्यर्थियों को बाहर करने पर रोक लगायी , क्लिक करे और पढ़े पूरी खबर

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने प्रशिक्षित स्नातक शिक्षक यानी टीजीटी कला संस्कृत और बायोलॉजी के संशोधित चयन परिणाम में अभ्यर्थियों को बाहर करने पर रोक लगायी , क्लिक करे और पढ़े पूरी खबर 




इलाहाबाद हाईकोर्ट ने प्रशिक्षित स्नातक शिक्षक यानी टीजीटी कला संस्कृत और बायोलॉजी के संशोधित चयन परिणाम में अभ्यर्थियों को बाहर करने पर रोक लगा दी है। कोर्ट ने इन अभ्यर्थियों को फिर से चयन सूची में शामिल करने और संशोधित परिणाम में चयनित अभ्यर्थियों को गैर विज्ञापित पदों या आगे आने वाली भर्तियों के पदों पर नियुक्ति देने का आदेश दिया है। 
यह आदेश न्यायमूर्ति संगीता चंद्रा ने इस मामले को लेकर दाखिल कई याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए दिया है। कला शिक्षकों की ओर से ओम प्रकाश यादव व अन्य बायोलॉजी के शिक्षकों विनोद कुमार चौधरी व अन्य तथा संस्कृत के संतोष कुमार तिवारी व अन्य की याचिकाएं दाखिल हुई थीं। याचीगण के अधिवक्ता के अनुसार कला के लिए 2009 जबकि संस्कृत और बायोलॉजी के लिए 2010 में विज्ञापन जारी हुआ था। 2012 में अंतिम चयन परिणाम घोषित किया गया। 

जिसे हाईकोर्ट में गलत प्रश्नों के आधार पर चुनौती दी गई। एकल न्यायपीठ ने चयन परिणाम रद करते हुए विशेषज्ञों की राय लेकर संशोधित परिणाम घोषित करने का आदेश दिया था। इस आदेश के अनुपालन में 2014 में संशोधित परिणाम घोषित किया गया।

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